केंद्रीय गृह सचिव ने शनिवार को नई दिल्ली में खुफिया ब्यूरो, रक्षा मंत्रालय, केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बल और गृह मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों के जम्मू-कश्मीर की स्थिति की समीक्षा की।
इस उच्च स्तरीय बैठक में बिना जान-माल के नुकसान के राज्य में सामान्य स्थिति को बहाल करने के तरीकों पर चर्चा हुई।
केंद्रीय गृह सचिव राजीव मेहरिषि की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में फैसला लिया गया कि कश्मीर घाटी में सुरक्षा और मजबूत बनाने के लिए अतिरिक्त केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बल को भेजे जायें।
बैठक के बाद जारी एक आधिकारिक बयान में कहा गया कि जम्मू-कश्मीर के हालात जानने के लिए गृह मंत्रालय नियमित रूप से राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ संपर्क में हैं तथा नियमित तौर से हालात की निगरानी भी कर रहे हैं।
गृह मंत्रालय ने जम्मू-कश्मीर की सरकार को पूरा सहयोग और समर्थन देने का आश्वासन दिया कि जिससे कि आगे और किसी भी नागरिक के जीवन को नुकसान न पहुंचे।
सरकार ने कहा कि स्थानीय युवाओं को रोजगार मुहैया कराने के लिये वह राज्य के लिये घोषित विशेष राहत पैकेज को लागू किया जायेगा।
पिछले साल नवंबर में प्रधानमंत्री मोदी ने राज्य की यात्रा के दौरान इस पैकेजी की घोषणा की थी।
पिछले दिनों हिंसक प्रदर्शनों के दौरान सुरक्षा बलों की कार्यवाही में राज्य में 5 लोगों की मौत हो गयी है।
इसके पहले भी श्रीनगर स्थित एनआईटी में स्थानीय और बाहरी छात्रों के बीच क्रिकेट के दौरान हुई बहस और नारेबाजी का मुद्दा तूल पकड़ चुका है। जिसके बाद केंद्र को इंजीनियरिंग कॉलेज में सीआरपीएफ की तैनाती करनी पड़ी थी।