आतंकवादियों को महिमामंडित करने के लिए पाकिस्तान को आड़े हाथ लेते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज ऐलान किया कि देश आतंकवाद के सामने नहीं झुकेगा और कहा कि बलूचिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर की जनता ने अपने खिलाफ हो रहे अत्याचार के मुद्दों को उठाने के लिए उनका शुक्रिया अदा किया है।
दरअसल,पीएम मोदी ने शुक्रवार को कश्मीर पर एक सर्वदलीय बैठक में अपने भाषण में बलूचिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में अत्याचारों के लिए पाकिस्तान को आड़े हाथ लिया था।
उन्होंने आज कहा कि उन इलाकों की जनता ने उसके बाद से उनका शुक्रिया अदा किया है और वह उनके आभारी हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा, जब पेशावर के एक स्कूल में आतंकी हमले में बच्चे मारे गए थे तो हमारी संसद में आंसू थे। भारतीय बच्चे आतंकित थे। यह हमारी मानवीयता का उदाहरण है, लेकिन दूसरी तरफ देखिए जहां आतंकवाद को महिमामंडित किया जाता है।
पाकिस्तान में बुरहान वानी के महिमामंडन का स्पष्ट रूप से जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि यह किस तरह की नीति है, जिसमें आतंकवादियों के साथ खुशी मनाई जाती है।
लाल किले की प्राचीर से देश को संबोधित करते हुए 90 मिनट के अपने भाषण में प्रधानमंत्री कश्मीर घाटी के हालात पर कुछ नहीं बोले जहां हिज्बुल कमांडर बुरहान वानी की मौत के बाद हिंसा का माहौल है, लेकिन उन्होंने पाकिस्तान पर आतंकवादियों को महिमामंडित करने और भारत में लोगों के मारे जाने की खुशी मनाने का आरोप लगाया।
मोदी ने वानी का नाम नहीं लिया लेकिन जाहिर तौर पर ऐसा बोलकर उन्होंने उसी का जिक्र किया जिसे पाकिस्तान ने शहीद का दर्जा दिया।
अपनी खास पहचान बने आधी आस्तीन के कुर्ते और राजस्थानी पगड़ी पहने मोदी ने 70वें स्वतंत्रता दिवस के मौके पर अपने भाषण के अधिकतर हिस्से में अपनी सरकार के कामकाज का रिपोर्ट कार्ड पेश किया और खासतौर पर अर्थव्यवस्था की गति बढ़ाने में, कारोबार करना सुगम बनाने में और गरीबों तथा किसानों के लिए कल्याणकारी योजनाओं में सरकार के कार्यों का ब्योरा पेश किया।
आतंकवाद के संदर्भ में मोदी ने कहा कि युवाओं को आतंकवाद और उग्रवाद के रास्ते को अपनाकर कुछ नहीं मिला. उन्होंने देश के ऐसे युवाओं से हिंसा का रास्ता छोड़ने और मुख्यधारा में शामिल होने का आह्वान किया।
उन्होंने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से कहा कि भारत और पाकिस्तान में आतंकवादी हमलों के संदर्भ में दोनों देशों के व्यवहार को देखें।